सागवाड़ा शहर की दो बड़ी समस्या, आमजन परेशान, बड़ा सवाल- कौन सुधारेगा शहर के हालात?

स्वर्णनगरी की सड़कों पर बेसहारा गोवंश का कब्जा, राहगीर परेशान

सागवाड़ा। स्वर्णनगरी सागवाड़ा शहर के विकास को लेकर कई बड़े-बड़े दावे किए जाते रहे, तो पालिका प्रशासन ने योजनाएं भी बनाई, लेकिन धरातल पर ये ये सब हवाई साबित हो रहे हैं। कॉलोनी हो या फिर मुख्य शहर की गली व सड़क पर बेसहारा गोवंश के झुंड इन दावों व योजनाओं की पोल खोल रहे हैं।
शहर के मुख्य मार्गों पर गोवंश का जमावड़ा इन दिनों शहर वासियों के सिरदर्द का कारण बना हुआ है। मुख्य मार्गों पर भी यही स्थिति नजर आ रही है। यह स्थिति पिछले कई सालों से बनी हुई है और इससे आमजन बेहाल है। इस समस्या के समाधान के मामले में केवल आश्वासन ही मिलते हैं। स्थायी समाधान आज तक नहीं हो पाया। शहर के डूंगरपुर बांसवाड़ा मार्ग, सदर बाजार, गामठवाड़ा मार्ग, घांचीवाडा, नर्सरी मोड़, गलियाकोट मोड़, मस्जिद चौक के आसपास यह स्थिति देखने को मिलती है। कभी कभार नगरपालिका की ओर से कार्रवाई के नाम पर लीपापोती जरूर की जाती है, लेकिन समस्या का स्थायी समाधान पालिका या प्रशासन आज तक नहीं खोज पाए।
रात में सड़काें के बीच में बैठे रहते हैं
सबसे अधिक दिक्कत रात के समय वाहन चालकों को होती है। सड़काें पर रात के अंधेरे में गोवंश के झुंड बैठे रहते हैं। जो अक्सर दिखाई नहीं देते। इनकी चपेट में आने से वाहन चालक और गोवंश चोटिल भी हो चुके हैं। शहर के मुख्य मार्गो और भीड़ भाड़ वाली तंग गलियों में गोवंश राहगीरों के लिए परेशानी का सबब बने हुए हैं।
चलाया था अभियान लेकिन वह भी बेअसर
नगर पालिका की ओर से पिछले साल शहर में घूमने वाले गोवंश को शहर से बाहर निकालने और गोशालाओं तक पहुंचाने के लिए विशेष अभियान चलाया गया था। इस अभियान के दौरान कुछ दिनों तक समस्या का समाधान जरुर हुआ, लेकिन कुछ दिनों बाद स्थितियां जैसी की तैसी बन गई।

 

शहर में ट्रैफ़िक व्यवस्था अनकंट्रोल, हादसे की संभावना, ज़िम्मेदार बेपरवाह
नगर पालिका बोर्ड में भी उठा था मुद्दा, फिर भी नहीं हो रहा समस्या का समाधान
सागवाड़ा। शहर के मुख्य मार्ग और ट्रैफिक व्यवस्थान अनकंट्रोल होती जा रही है। डूंगरपुर बांसवाड़ा को जोड़ने वाले शहर से गुजर रहे मुख्य मार्ग पर दुपहिया में चार पहिया वाहन बेतरतीब खड़े किए जा रहे हैं। इस मामले को नगरपालिका की बोर्ड बैठक में भी उठाया गया था। इसके बाद नगर पालिका की ओर से बैंक अधिकारियों के साथ चर्चा भी की गई लेकिन हालात जस की तस बने हुए हैं। वाहनों का आवागमन बढ़ने से गलियाकोट मोड़, नर्सरी मोड़, ज़ील चौराहे व गोल चौराहे पर सड़क हादसों की आशंका बढ़ गई है। इसमें खासकर गोल चौराहे, ज़ील चौराहे व नर्सरी मोड़ पर यातायात पुलिसकर्मियों को तैनात करने की आवश्यकता है। यदि स्थानीय थाना पुलिस द्वारा शीघ्र ही यायातात पुलिसकर्मी तैनात नहीं किए जाते हैं तो कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है।
गलियाकोट मोड़, नर्सरी मोड़ व गोल चौराहा पर रहती है हादसे की आशंका
हाइवे पर गलियाकोट मोड़, नर्सरी मोड़ की ओर जाने वाले वाले रास्तों के तिराहे एवं चौराहों पर भी कमोबेश यही हालात है। यहां वाहनों को डायवर्ट और कंट्रोल करने के लिए पुलिसकर्मी लगाने चाहिए। इसी प्रकार गोल चौराहे पर भी वाहनों की आवाजाही अधिक होती है। यहां वाहनों का अम्बार लग जाता है। बांसवाड़ा व डूंगरपुर की तरफ से आने वाले वाहनों के अलावा गामोठवाड़ा और सदर बाजार में आवाजाही से यहां भी हादसे होने की आशंका बनी रहती है। गोल चौराहे पर दिन में कई बार जाम लग जाता है। वाहन आडे़ तिरछे फंस जाते हैं। लेकिन यहां पर वाहनों को नियंत्रित करने के लिए कभी कभार ही यातायात पुलिस देखने मिलती है।

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