डूंगरपुर। जिले के बिछीवाडा थाना क्षेत्र में झेलाना गांव में चर्च के बाहर आदिवासी लोगों को प्रार्थना सभा में बुलाकर तैयारियां करने पर आज सुबह हिन्दू संगठन के लोगों ने विरोध करते हुए सख्त कानूनी कार्रवाई करने की मांग रखी। संगठन के लोग आज शाम 4 बजे झेलाणा चर्च में होने वाले धार्मिक कार्यक्रम को लेकर मौके पर पहुंचे। सूचना पर पुलिस डिप्टी मय जाप्ता मौके पर पहुंचा। जहां पर आदिवासी समाज के लोगों को बुलाकर चर्च के कार्यक्रम करने का विरोध जताया।
डूंगरपुर जिले के बिछीवाडा उपखंड के अंर्तगत झेलाणा गांव में स्कूल की आड में बने चर्चा का हिन्दूवादी नेताओं ने विरोध किया। सुबह 11 बजे संत समाज और हिन्दू संगठन के लोग चर्च में पहुंचे। जहां पर शाम 4 बजे होलीफेथ प्रार्थना सभा में आदिवासी समाज के लोगों को बुलाकर तैयारियां कराने का विरोध जताया।
उन्होंने सभी आदिवासी समाज के लोगों को चर्च से बाहर बुलाकर मौके पर पादरी सीबी थॉमस, फादर गोपाल खराडी को बुलाया। जहां पर संत समाज के अध्यक्ष लोकेशजी महाराज, दौलतराम खराडी, संयोजक जयेश कलाल ने कहा कि मिशनरी लोगों ने यहां पर स्कूल बनाने की आड में आदिवासी से जमीन छिन ली। आज तक स्कूल नही बनाया बल्कि इतना बडा चर्च बना दिया। यहां पर आदिवासी समाज के लोगों को क्यो बुलाया जा रहा है।
इस पर फादर गोपाल खराडी ने कहा कि यही स्कूल की बिल्डिंग है। इस पर संयोजक जयेश कलाल ने कहा कि स्कूल भवन पर इश्यूमसिही के फोटो लगाने, मूर्ति बनाने, कॉस के निशान हटाने की मांग रखी। उन्होंने कहा कि यहां पर एक भी आदिवासी को बुलाकर प्रार्थना कराई तो चर्च के बाहर धरना प्रदर्शन किया जाएगा। हिन्दूवादी संगठन ने कहा कि स्कूल की बिल्डिंग आज तक नही बनी है लेकिन चर्च पहले बन गया। ऐसे में शिक्षा विभाग से झेलाना गांव में शैक्षणिक संस्थान की परर्मिशन रोकने की मांग की गई।
वही चर्च के पडौस में रहने वाले आदिवासी किसान ने बताया कि उसकी फसलों को वाहनों से बर्बाद कर चर्च का काम किया जा रहा है। हिन्दूवादी नेताओं और पादरी के बीच विवाद को डिप्टी तपेंद्र मीणा ने शांत कराते हुए मौके से लोगों को ले गए। वही बिछीवाडा थानाधिकारी कैलाश सोनी के नेतृत्व में जाप्ता लगाया। वही हिन्दूवादी नेता भी शाम के कार्यक्रम के विरोध स्वरुप चर्च के बाहर खडे रहे। उन्होंने आदिवासी लोगों का जबरन ब्रेनवॉश् कर धर्म परिवर्तन कराने का आरोप लगाते हुए विरोध दर्ज कराया।