डूंगरपुर। बारिश के बाद मौसमी बीमारियों का खतरा मंडराने लगा है। तेज बुखार के साथ ही मलेरिया, टाइफाइड के साथ ही डेंगू के मरीज बढ़ने लगे हैं। हालत ये है कि 176 डेंगू मरीज अब तक सामने आ गए है, जबकि एक बच्चे की मौत भी हुई है। स्क्रब टाइफस से भी एक बच्चे की मौत हो चुकी है। अस्पतालों में बीमारियों से पीड़ित मरीज से बेड फुल हो गए हैं। महिला और पुरुष के साथ बच्चे भी बीमारियों की चपेट में आ रहे हैं। निजी अस्पतालों में भी मरीज इलाज करा रहे हैं। डॉक्टर भी बीमारियों से बचाव को लेकर सलाह दे रहे है।
डूंगरपुर जिले में मलेरिया, स्क्रब टायफस, चिकनगुनिया सहित मौसमी बीमारियों में सबसे जानलेवा डेंगू बुखार तेजी से पैर पसार रहा है। जिले में 9 महीनों में अब तक 176 मरीज डेंगू के सामने आए हैं, जबकि सरकारी आंकड़ों में डेढ़ महीने पहले 14 साल के एक बच्चे की डेंगू से मौत हुई है। पिछले साल 2022 में अक्टूबर महीने तक 84 मरीज डेंगू के सरकारी अस्पतालों में भर्ती हुए थे। खास बात ये भी है कि एक मरीज की मौत भी हुई थी। इन दिनों अस्पताल में रोज औसत 8 से 10 मरीज रिपोर्ट किए जा रहे हैं। निजी अस्पतालों में रोजाना बड़ी संख्या में डेंगू के मरीज आ रहे हैं, लेकिन यह रिपोर्टिंग कार्ड टेस्ट से हो रही है। जिसे सीधे तौर पर सरकारी रिपोर्ट में मान्यता नहीं देती। निजी अस्पताल रिपोर्ट किए जाने वाले डेंगू मरीजों की जानकारी भी सीएमएचओ को रोज नहीं भेज रहे हैं। ऐसे में स्वास्थ्य महकमा तेजी से पैर पसार रहे डेंगू की सही स्थिति से बेखबर है। डॉक्टर्स के निजी क्लीनिक पर डेंगू की पुष्टि होने पर मरीज बड़ी संख्या में अपने ही घरों में इलाज करवा रहे हैं। जो जानलेवा साबित हो सकता है। स्वास्थ्य विभाग डेंगू फैलाने वाले एडीज मच्छर को खत्म करने के लिए संसाधन उपलब्ध होने की बात कह रहे हैं। गली मोहल्लों में नियमित फॉगिंग कराए जाने की बात कर रहा है।
स्क्रब टाइफस के 4 केस
डूंगरपुर में अब तक स्क्रब टाइफस के 4 मामले सामने आए हैं। इसमें से 4 साल के एक बच्चे की मौत भी हो चुकी है। स्क्रब टाइफस में मरीज को तेज बुखार, खांसी, शरीर में जकड़न, सिर दर्द जैसी कई शिकायतें होती हैं। जिले में सीएचसी और पीएचसी पर इसकी जांच सुविधा भी उपलब्ध नहीं है। ऐसे में स्क्रब टाइफस से भी मरीज तड़प रहे हैं।
मच्छरों से फैल रही बीमारियां
डूंगरपुर मेडिकल कॉलेज से जुड़े श्रीहरिदेव जोशी सरकारी अस्पताल में जांच सुविधा, दवाएं, मरीज को भर्ती के इंतजाम कर लिए गए हैं। डॉ. महेंद्र डामोर ने बताया कि गंभीर मरीजों को आईसीयू में भी भर्ती कर इलाज किया जा रहा है। डेंगू में प्लेटलेट्स की कमी भी काफी हो जाती है और उसके बाद मरीज की जान भी जा सकती है। ऐसे में ब्लड बैंक भी पर्याप्त मात्रा में ब्लड भी रेडी स्टॉक रखा गया है। सीएमएचओ डॉ. अलंकार गुप्ता ने बताया कि स्वास्थ्य गाइडलाइन के अनुसार इन दिनों में डेंगू और मलेरिया का संक्रमण फैलता है। ऐसे में लोगों को चाहिए कि वे पूरी बाह के कपड़े पहने जिससे शरीर के खुले रहने वाले भागों पर मच्छर काट नहीं सके। एडीज फ्रेश वॉटर मच्छर होता है। ऐसे में आसपास बारिश का पानी भी भरा नहीं रहने दें।
बारिश के बाद बढ़ा डेंगू का खतरा, 176 पॉजिटिव मरीज आए सामने, स्क्रब टाइफस के आए 4 केस
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